नई दिल्ली. Covid JN.1Variant: कोरोना वायरस के नए जेएन.1 वेरिएंट लगातार बढ़ता जा रहा है। विश्व स्वास्थ्य संगठन की पूर्व चीफ साइंटिस्ट डॉ सौम्या स्वामीनाथन ने कहा है कि लोगों को अभी घबराने की जरूरत नहीं है। समाचार एजेंसी एएनआई को दिए इंटरव्यू में स्वामीनाथन ने बताया कि नए वेरिएंट को ‘वेरिएंट ऑफ इंटरेस्ट’ बताया है न कि ‘वेरिएंट ऑफ कंसर्न’। हालांकि, इसके बाद भी लोगों के बीच कोविड के नए वेरिएंट को लेकर डर है।
स्वामीनाथन ने कहा कि हमने सतर्क रहने की जरूरत है, मगर हमें चिंता करने की जरूरत नहीं है, क्योंकि हमारे पास ऐसा डाटा नहीं है, जो ये दिखा सके कि जेएन.1 वेरिएंट खतरनाक है। हमें ये भी नहीं मालूम है कि इसकी वजह से ज्यादा निमोनिया या मौत होगी। उन्होंने कहा कि मुझे लगता है कि अभी हमें सामान्य उपाय करने होंगे, जिन्हें हम करते हुए आ रहे हैं। हम ओमिक्रॉन के बारे में जानते हैं और ये सब-वेरिएंट भी उसी का एक हिस्सा है।
भारत में अब तक जेएन.1 सब-वेरिएंट के 26 मामले सामने आए हैं। इस कारण चिंताएं बढ़ गई हैं। 26 मामलों में 19 केस गोवा में, 4 राजस्थान में और केरल, दिल्ली, महाराष्ट्र में एक-एक आए हैं।गोवा मे ट्रेस किए गए जेएन.1 सब-वेरिएंट के सभी 19 केस इनएक्टिव कंफर्म हुए हैं। मरीजों से इकट्ठा सैंपल्स की जब जीनोम सीक्वेंसिंग की तो इस वेरिएंट के बारे में मालूम चला।
राजस्थान के जैसलमेर में बुधवार को जेएन.1 सब-वेरिएंट से जुड़े दो कोविड केस सामने आए हैं। जयपुर में गुरुवार को दो अन्य मामले आए। इस तरह राजस्थान में इस वेरिएंट की एंट्री हुई है। भारत में कोविड के 594 नए मामले आए हैं। इस तरह देश में कोविड केस की एक्टिव संख्या 2669 तक पहुंच गई है। सबसे ज्यादा केस केरल में रिकॉर्ड किया गया है।विश्व स्वास्थ्य संगठन ने जेएन.1 को ‘वेरिएंट ऑफ इंटरेस्ट’ के तौर पर क्लासिफाइड किया है। ये वेरिएंट BA.2.86 से पैदा हुआ है, मगर उससे थोड़ा अलग है। वर्तमान में इस नए वेरिएंट से कम खतरा नजर आ रहा है।
ब्लूमबर्म की रिपोर्ट के मुताबिक, इंग्लैंड और स्कॉटलैंड में 24 लोगों में हर एक व्यक्ति कोविड संक्रमित है। लंदन कोविड से बुरी तरह से प्रभावित इलाकों में शामिल है, जहां जेएन.1 वेरिएंट तेजी से फैल रहा है। ब्रिटेन के ‘हेल्थ सिक्योरिटी एजेंसी’ और ‘ऑफिस ऑफ नेशनल स्टैटिक्स’ की ज्वाइंट रिपोर्ट में बताया है कि कोविड का सबसे ज्यादा शिकार 18 से 44 साल के लोग बन रहे हैं। रिपोर्ट में बताया कि कोविड के केस बढ़ने की वजह ठंडा तापमान, छोटे दिन और सर्दियों के मौसम में लोगों का घुलना-मिलना है। इसकी वजह से ऐसा वातावरण तैयार हो रहा है, जिसमें कोविड आसानी से फैल रहा है। इंग्लैंड और स्कॉटलैंड में कोविड के फैलने की दर 4.2 फीसदी है, जबकि बुरी तरह प्रभावित लंदन में ये 6.1 फीसदी पर है।